मिथिला हिन्दी न्यूज :- बिहार राजनीति में एक अलग पहचान बनाने वाले नेताओं में से एक लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान (Ram Vilas Paswan) का अस्पताल में निधन हो गया है. वे पिछले कुछ समय से बीमार चल रहे थे. पासवान की हाल ही में हार्ट सर्जरी हुई थी.वे 74 वर्ष के थे. उनके बेटे चिराग पासवान ने एक ट्वीट करके पिता के निधन की जानकारी दी. उन्होंने लिखा, ''पापा....अब आप इस दुनिया में नहीं हैं लेकिन मुझे पता है आप जहां भी हैं हमेशा मेरे साथ हैं. Miss you Papa.''पासवान, नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार में उपभोक्ता मामलों तथा खाद्य और नागरिक आपूर्ति मंत्री मंत्रालय की जिम्मेदारी संभाल रहे थे। निधन से पुरे बिहार शोक में दुब गया है 1996 से सभी सरकारों में मंत्री रहना, एक ऐसी असाधारण योग्यता है जिसके आगे अजित सिंह भी चित्त हो गए. देवगौड़ा-गुजराल से लेकर अटल बिहारी वाजपेयी, मनमोहन सिंह और नरेंद्र मोदी जैसे अनेक प्रधानमंत्रियों को साधना साधारण काम नहीं है.बिहार पुलिस की नौकरी छोड़कर राजनीति के मैदान में उतरे रामविलास पासवान, कांशीराम और मायावती की लोकप्रियता के दौर में भी, बिहार के दलितों के मज़बूत नेता के तौर पर लंबे समय तक टिके रहे हैं.2019 के आम चुनाव से पहले एक और पैंतरा लेकर नरेंद्र मोदी और अमित शाह जैसे हार्ड टास्कमास्टरों को भी उन्होंने मजबूर कर दिया. बिहार में लोकसभा की छह सीटों पर लड़ने का समझौता करने के साथ, असम से ख़ुद राज्यसभा पहुंचने का इंतज़ाम करना कोई मामूली बात नहीं है.