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बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के नाम पर देश के लड़कियों को 2 -2 लाख देने का प्रावधान निकला पूरी तरह फर्जी हो सकता है, डेटा चुराने तथा धोखाधड़ी करने की नई साजिश

बादल राज


सीतामढ़ी संवादाता (मिथिला हिंदी न्यूज)

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के नाम पर देश के लड़कियों को 2 -2 लाख देने का प्रावधान निकला पूरी तरह फर्जी हो सकता है यह डेटा चुराने की कोई नई साजिश चूंकि वर्तमान में आम जनता के बीच तेजी से एक योजना आग के तरह फैल रही है जो दफ्तर के चक्कर लगाते लड़कियों को स्पस्ट रूप से देखा जा सकता है की कैसे लोग अपनी अपनी काम करवाने हेतू घंटो भर धूप में भारतीय डाक घर के सामने खड़ी है। हालांकि देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने देश की बेटियों के उत्थान और उन्हें स्वावलंबी बनाने के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना की शुरुआत की थी. इस योजना से काफी मदद मिली है और देश में लोगों का बेटियों के प्रति नजरिया भी बदला है. लेकिन दिक्कत इस बात की बात यह है कि अब फ्रॉड करने वाले लोगों ने इस योजना की लोकप्रियता के माध्यम से अप्रत्यक्ष रूप से लूटना शुरू कर दिया है। कुछ दिन पहले राष्ट्रीय बालिका दिवस 2/5 राष्ट्रीय बालिका दिवस पर सोशल मीडिया पर वायरल एक तस्वीर बेटी बचाओ बेटी पढाओ योजना के तहत केंद्र सरकार की तरफ से देश को लड़कियों को 2 - 2 लाख की नकद मदद देने का दावा किया जा रहा है। सन्देश में स्पस्ट रूप से कहा गया है कि राष्ट्रीय बालिका दिवस के मौके पर बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना में सरकार की तरफ से 2 लाख की नकद मदद दी जा रही है।लेकिन बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के नाम पर धोखाधरी करने की आशंका जताई जा रही है।हालांकि इस योजना के तहत फॉर्म भेजने का पता भी भारत सरकार महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, शास्त्री भवन, दिल्ली बताया गया है.दिल्ली में महिला एवं बाल कल्याण मंत्रालय की तरफ से साफ किया गया कि उनके संज्ञान में पहले ही कई बार ऐसी धोखाधड़ी की घटनाएं आ चुकी है जिससे बचाने के लिए उन्होंने अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर चेतावनी भी जारी की है। वहीं फॉर्म वाले भी फार्म बेचकर लगा जनता को 2 रुपये के जगह 4 से 5 रुपये में फॉर्म बेचकर लगा रहे हैं लोगो को चुना वहीं भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के संज्ञान में ये आया कि कुछ अनाधिकृत साइट/संगठन/एनजीओ/व्यक्ति ‘बेटी बचाओ बेटी पढाओ’ योजना के तहत नकद प्रोत्साहन के नाम पर फॉर्म बेच रहे हैं. इस योजना में भारत सरकार की ओर से व्यक्तिगत 'नकद हस्तांतरण घटक' के लिए कोई प्रावधान नहीं है. 

सरकारी एजेंसी पीआईबी ने भी इस तरह की किसी नकद मदद से इनकार किया है. वास्तव में लोगों को सरकार से दो लाख रुपये पाने का लालच दिलाकर कुछ धोखेबाज 200-500 रुपये में फॉर्म देकर तथा उसे भरने, हेतु सरपंच से सत्यापित कराने और दिल्ली भेजने के नाम पर 500 रुपये और ठग ले रहे हैं. एक व्यक्ति को इस चक्कर में 1,000 रुपये का चूना लगाया जा रहा है। 

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