पटना: बिहार में जल संचयन और ग्रामीण रोजगार को बढ़ावा देने के लिए अमृत सरोवर योजना तेजी से कारगर साबित हो रही है। पंचायती राज विभाग द्वारा अब तक राज्य में 2613 अमृत सरोवरों का विकास किया जा चुका है, जो न केवल सिंचाई और मत्स्य पालन का साधन बन रहे हैं, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी अहम भूमिका निभा रहे हैं।
राज्य सरकार ने जीविका दीदियों को आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से मछली पालन के लिए प्रति वर्ष ₹5000 का अनुदान देना शुरू किया है। इस पहल से महिलाएं अब मछली उत्पादन में भागीदारी कर रही हैं और इससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार हो रहा है।
इन सरोवरों से किसान भी लाभान्वित हो रहे हैं, क्योंकि आसपास के खेतों को सिंचाई के लिए पानी मिलने लगा है। साथ ही जल स्तर में भी सुधार देखने को मिला है, जिससे भविष्य के जल संकट को टालने में मदद मिल रही है।
विशेषज्ञों के अनुसार, यह योजना न केवल ग्राम्य अर्थव्यवस्था को मजबूती दे रही है, बल्कि महिलाओं को सशक्त बनाने की दिशा में भी मील का पत्थर साबित हो रही है।