पटना।
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के इतिहास में एक बार फिर वही चेहरा पार्टी अध्यक्ष बनने जा रहा है। लालू प्रसाद यादव, जो पार्टी गठन के समय से ही राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में पद पर बने हुए हैं, इस बार भी राष्ट्रीय अध्यक्ष चुने जाना तय माना जा रहा है।
पार्टी में नहीं दिख रहा कोई विकल्प
राजद की आंतरिक राजनीति में लालू यादव का प्रभाव आज भी बरकरार है। 1997 में पार्टी के गठन के बाद से अब तक यानी पूरे 28 वर्षों से वह लगातार अध्यक्ष पद पर बने हुए हैं। पार्टी के भीतर उन्हें चुनौती देने वाला कोई चेहरा सामने नहीं आया है।
चुनाव की औपचारिकता भर
पार्टी सूत्रों के अनुसार, इस बार भी अध्यक्ष पद के लिए कोई दूसरा नाम सामने नहीं आया है। ऐसे में लालू प्रसाद यादव का फिर से निर्विरोध अध्यक्ष बनना तय है। पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में इसका औपचारिक ऐलान किया जाएगा।
परिवार और पार्टी में पकड़
हालांकि पार्टी में अब तेजस्वी यादव को भविष्य के नेता के रूप में देखा जा रहा है, लेकिन लालू यादव की संगठनात्मक पकड़ और जनाधार अभी भी निर्णायक बना हुआ है।