बिहार की राजनीति में एक बार फिर से हलचल मच गई है। राजद प्रमुख लालू यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप यादव ने पार्टी और परिवार के खिलाफ बागी रुख अख्तियार कर लिया है। इस बार तेजप्रताप ने सीधे अपने छोटे भाई और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के नेतृत्व को चुनौती दे डाली है। उन्होंने कहा कि तेजस्वी का नेतृत्व सभी को मंजूर नहीं है और पार्टी में लोकतांत्रिक प्रक्रिया की अनदेखी की जा रही है।
गौरतलब है कि इससे पहले भी तेजप्रताप यादव ने 'लालू-राबड़ी मोर्चा' बनाकर पार्टी के समानांतर संगठन खड़ा करने की कोशिश की थी। उनके और तेजस्वी यादव के रिश्ते में उस समय दरार पड़ी जब ऐश्वर्या राय प्रकरण सार्वजनिक हुआ और बात परिवार तक पहुंच गई। इसके बाद तेजप्रताप को न सिर्फ पार्टी में साइडलाइन किया गया, बल्कि पारिवारिक मंचों से भी दूर कर दिया गया था।
अब एक बार फिर चुनावी माहौल में तेजप्रताप का तीखा तेवर सामने आना यह संकेत दे रहा है कि राजद के भीतर अंदरूनी कलह गहराती जा रही है। उन्होंने इशारों-इशारों में यह भी कहा कि पार्टी में उन्हें दरकिनार करने की साजिश हो रही है और अगर ऐसा हुआ तो वे चुप नहीं बैठेंगे।
तेजप्रताप के इस बयान के बाद राजद की मुश्किलें बढ़ सकती हैं, खासकर तब जब पार्टी 2025 के विधानसभा चुनाव की रणनीति बनाने में जुटी हुई है।