बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस पार्टी ने संगठनात्मक स्तर पर मजबूत पकड़ बनाने की कवायद तेज कर दी है। पार्टी कार्यकर्ताओं को जहां रीचार्ज (सक्रिय) किया जा रहा है, वहीं माई बहिन मान योजना, हर घर झंडा अभियान और चौपाल कार्यक्रम जैसे जनसंपर्क अभियानों पर विशेष फोकस किया जा रहा है।
📌 माई बहिन मान योजना: ग्राउंड से वॉर रूम तक सीधा कनेक्शन
कांग्रेस की "माई बहिन मान योजना" को लेकर पार्टी ने टेक्नोलॉजी का भरपूर इस्तेमाल शुरू किया है।
जब कोई कार्यकर्ता या नेता योजना का फॉर्म भरवाता है, तो इसकी सीधी जानकारी वॉर रूम में बैठे टीम को मिल जाती है।
इससे पार्टी को यह तुरंत पता चलता है कि किस नेता या कार्यकर्ता ने किस इलाके में, कितना सक्रियता दिखाई है।
🏠 हर घर झंडा अभियान
पार्टी "हर घर झंडा" कार्यक्रम के तहत कांग्रेस का झंडा हर घर तक पहुंचाने की कोशिश कर रही है। इसका उद्देश्य है:
पार्टी की मौजूदगी का अहसास कराना
जनसमर्थन को दृश्यमान रूप में दिखाना
और कार्यकर्ताओं को जोड़ना
🗣️ चौपाल कार्यक्रम
गांव-गांव में चौपाल लगाकर स्थानीय मुद्दों पर चर्चा, महिला और युवा वोटरों को जोड़ने की रणनीति तेज हो गई है। इससे पार्टी जमीनी स्तर पर सीधे संवाद स्थापित कर रही है।
🎯 चुनावी रणनीति का हिस्सा
कांग्रेस का यह अभियान वोटरों की पहचान, वर्गीकरण और संपर्क के लिहाज से अहम माना जा रहा है।
पार्टी के अंदर इसे "डिजिटल माइक्रो मैनेजमेंट" कहा जा रहा है, जिससे जमीनी कार्यकर्ता से लेकर टॉप लीडरशिप तक रीयल टाइम अपडेट मिल रही है।